मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉक्टर शंकर एच बामनिया ने बताया कि विश्वस्त सूत्रों से सूचना प्राप्त होने पर भुवाना उदयपुर स्थित सरोज हॉस्पिटल एवं ट्रॉमा सेंटर पर कार्यालय से टीम गठित कर निरीक्षण करने हेतु भेजा गया । टीम में डॉक्टर अशोक आदित्य डी आर सी एच ओ ,डॉक्टर राकेश गुप्ता एस एम ओ , श्री राजेंद्र सोलंकी ,सहायक प्रशासनिक अधिकारी और शरद पाटीदार , कोऑर्डिनेटर चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना सम्मिलित थे ।
श्रीमती केसर देवी ने अपने परिवार जनों के साथ सीएमएचओ डॉ बामनिया को लिखित में शिकायत दी कि सरोज हास्पिटल में कार्यरत डॉ सुरज्ञान, जो राजकीय सेवा में है द्वारा एम्बुलेंस चालकों से कमिशन पर सीधे ही मरीजों को सरोज हास्पिटल लेकर आने के लिए बोल रखा है जिससे अनजान मरीज इनके झांसे में फस जाता है। हमारे साथ भी ऐसा ही किया गया। बिजली से जल जाने पर भरत निनामा को हम उदयपुर के राजकीय चिकित्सालय में ला रहे थे लेकिन धोखे से हमें सरोज हास्पिटल में लाया गया। आपरेशन के नाम पर 10 लाख से अधिक रकम वसूल कर ली गई और 3 लाख और मांगे जा रहे हैं।भरत के स्वास्थ्य में कोई संतोषजनक सुधार नहीं हो रहा है। इससे इनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई।
टीम ने वहां जाकर निरीक्षण एवं पूछताछ की और उसके संचालन से संबंधित दस्तावेज प्रस्तुत करने के लिए कहा जिसमें चिकित्सा संचालन संबंधी क्लिनिकल एस्टेब्लिशमेंट एक्ट का रजिस्ट्रेशन ,वर्तमान में कार्यरत चिकित्सकों की सूची ,पैरामेडिकल स्टाफ की सूची, बायोमेडिकल वेस्ट संबंधी प्रमाण पत्र ,पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड संबंधी प्रमाण पत्र मांगे गए जिन में से कोई भी दस्तावेज उपलब्ध नहीं कराए गए ।
चिकित्सालय के मालिक ललित चोरडिया ने संचालन प्रक्रिया संबंधी कोई कार्यवाही नहीं की थी एवं प्रमाण पत्र नहीं ले रखे थे इससे ज्ञात होता है कि अवैध रूप से हॉस्पिटल का संचालन किया जा रहा था । वहां कार्यरत उपस्थित डॉ नितिन का राजस्थान में प्रेक्टिस करने हेतु आरएमसी नंबर भी नहीं था । वह भी अवैध रूप से प्रैक्टिस कर रहे थे ।
इस प्रकार से अन्य मरीजों के साथ भी धोखा किया जा रहा है और किसी प्रकार का रजिस्ट्रेशन नहीं होने से आम जनता के स्वास्थ्य के साथ भी खिलवाड़ किया जा रहा है। इसकी सूचना खंड मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा पुलिस को दी गई है और उचित कार्यवाही के लिए कहा गया है।