श्री सरदार स्वरूप श्यामजी माझी मंदिर बचाओ संघर्ष समिति एवं चांदपोल सेवा समिति एवं हनुमान सेना एवं श्री बजरंगबली प्रचार समिति के संयुक्त तत्वाधान में देव दर्शन पद यात्रा का हार्दिक स्वागत एवं अभिनंदन गुलाब की पुष्प वर्षा से किया गया। यात्रा में पधारे हुए भक्तजनों को आइसक्रीम एवं जल का वितरण किया गया। देवस्थान मंत्री शकुंतला रावत एवं प्रज्ञा जी (देवस्थान आयुक्त) को मेवाड़ी पाग एवं उपहर्णा पहनाकर स्वागत किया गया।
सर्किट हाउस में दिया ज्ञापन
शकुंतला रावत (देवस्थान मंत्री) राजस्थान सरकार को श्री सरदार स्वरूप श्यामजी मंदिर मांजी का घाट चांदपोल बाहर उदयपुर पर प्रवेश एवं अन्य शुल्क हटाने बाबत श्री सरदार स्वरूप श्यामजी मांजी मंदिर बचाओ संघर्ष समिति द्वारा ज्ञापन दिया गया।
ज्ञापन में कहा गया कि उक्त मंदिर अति प्राचीन होकर कर्मकांड, धार्मिक, सामाजिक, सांस्कृतिक, क्रिया कर्म नहाना, टहलना, बच्चों के घूमने संबंधित कार्य पीढ़ी दर पीढ़ी उक्त परिसर का उपयोग उपभोग करते आ रहे है । प्रीवेडिंग पाश्चात्य संस्कृति की उपज है । प्री वेडिंग शूटिंग भारतीय सनातन संस्कृति के विपरीत है। प्री वेडिंग शूटिंग के लिए मंदिर परिसर में भारतीय संस्कृति के विपरीत कम कपड़ों में एवं आपत्तिजनक दृश्यों का निर्माण कर फोटो एवं वीडियो शूट करने से भारतीय संस्कृति का उपहास होता है तथा माननीय संवेदनाऐ समाप्त प्राय होने लगती है। प्री वेडिंग शूट की मान्यता प्रदान करने हेतु देवस्थान विभाग का गठन नहीं किया गया था, देवस्थान विभाग बनाने के पीछे विधायकों की यही मन्शा थी कि राजकीय मंदिरों की प्रबंध व्यवस्था सुनिश्चित किया जा सके ।
मंदिर परिसर में महादेव जी का मंदिर जीर्ण-शीर्ण हो रहा है, जिसका जीर्णोद्वार किया जाए। हनुमानजी मंदिर एवं महादेव जी मंदिर का परिसर बड़ा किया जावे* ताकि दर्शन करने वाले धर्मावलंबी बैठकर भगवान की आराधना शांतिपूर्वक कर सके ।
मंदिर परिसर में पीने के पानी, शौचालय, सिक्योरिटी गार्ड, लाइटिंग एवं सीसीटीवी कैमरे की समुचित व्यवस्था की जाए ।
उक्त मंदिर को अमराई घाट के नाम से संबोधित ना कर पुरातत्व नाम श्री सरदार स्वरूप श्यामजी मांजी मंदिर के नाम से ही जाना जावे, इसके लिए देवस्थान विभाग सोशल मीडिया से मिथ्या प्रसार हटाने का प्रयास करें।
ज्ञापन में कहा गया है कि देवस्थान विभाग द्वारा लगाए गए टिकट प्रणाली एवं सुविधाओं में सुधार हेतु विभाग द्वारा निर्णय नहीं लिया जाता है तो, ऐसी स्थिति में आम जनता, क्षेत्रवासी, जनप्रतिनिधि, जागरूक नागरिक एवं धार्मिक संगठनों द्वारा उग्र प्रदर्शन किया जाएगा। जिसकी संपूर्ण जवाबदेही राजस्थान सरकार प्रशासन पुलिस प्रशासन एवं देवस्थान विभाग की रहेगी ।
उक्त ज्ञापन के सन्दर्भ में मंत्री महोदया द्वारा आश्वस्त किया गया है कि आज ही देवस्थान विभाग के अधिकारियों के साथ चर्चा कर उक्त विषय पर ठोस निर्णय लिया जायेगा।
ज्ञापन देने क्षेत्रवासी एवं श्री सरदार स्वरूप श्यामजी मांजी का मंदिर बचाओ संघर्ष समिति के सदस्यगण निर्मल चौबीसा, ललित कुमावत, रोहित चौबीसा, एडवोकेट भारत कुमावत, जय सोनी एवं शंकर कसारा इत्यादि सदस्य थे ।