Breaking News

Dr Arvinder Singh Udaipur, Dr Arvinder Singh Jaipur, Dr Arvinder Singh Rajasthan, Governor Rajasthan, Arth Diagnostics, Arth Skin and Fitness, Arth Group, World Record Holder, World Record, Cosmetic Dermatologist, Clinical Cosmetology, Gold Medalist

Current News / मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को मिली मंजूरी, स्पीकर बोले- चर्चा के बाद लेंगे फैसला !

arth-skin-and-fitness मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को मिली मंजूरी, स्पीकर बोले- चर्चा के बाद लेंगे फैसला !
दिनेश भट्ट (Twitter: @erdineshbhatt) July 26, 2023 03:22 PM IST

मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को मिली मंजूरी, स्पीकर बोले- चर्चा के बाद लेंगे फैसला !

आज संसद के मानसून सत्र के पांचवें दिन मणिपुर मुद्दे पर बहस छिड़ी हुई है। इसी बीच विपक्षी दलों के द्वारा आज (बुधवार) को लोकसभा में केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव (No Confidence Motion) लाया गया है। वहीं लोकसभा स्पीकर ने अविश्वास प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।अविश्वास प्रस्ताव को लेकर कांग्रेस सहित सभी विपक्षी दलों ने सहमति जताई है। इसे लेकर कांग्रेस ने अपने सांसदों को व्हिप भी जारी किया है।बता दें कि विपक्ष की मांग है कि मणिपुर मुद्दें पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी खुद बयान दें, जबकि सरकार का कहना है कि वह मणिपुर पर चर्चा के लिए तैयार है, लेकिन विपक्षी दल एक नियम के तहत चर्चा के लिए दबाव डाल रहे हैं।

 

 क्या होता है अविश्वास प्रस्ताव?

संसदीय लोकतंत्र में कोई भी सरकार तभी तक सत्ता में रह सकती है, जब तक उसके पास निर्वाचित सदन (लोकसभा) में बहुमत है। हमारे संविधान का आर्टिकल 75(3) इस नियम को स्पष्ट करता है कि मंत्रिपरिषद सामूहिक रूप से लोकसभा के प्रति उत्तरदायी है। लोकसभा का कोई भी सदस्य, जो अविश्वास प्रस्ताव के लिए 50 सांसदों का समर्थन जुटा लेता है, वो कभी भी मंत्रिपरिषद के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव ला सकता है। अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस को मंजूरी मिलने के बाद संसद में इस पर चर्चा होती है। अविश्वास प्रस्ताव का समर्थन करने वाले सांसद सरकार की कमियां हाईलाइट करते हैं और ट्रेजरी बेंच उनके द्वारा उठाए गए मुद्दों पर प्रतिक्रिया देती है।अविश्वास प्रस्ताव पर लोकसभा में चर्चा के बाद वोटिंग की जाती है। अगर लोकसभा के ज्यादातर सदस्य सरकार के समर्थन में वोट करते हैं तो सरकार जीत जाती है और सत्ता में बनी रहती है। इसके उलट अगर अधिकतर सांसद अविश्वास प्रस्ताव के समर्थन में वोट करते हैं तो सरकार गिर जाती है।

 

तो क्या मोदी सरकार के ऊपर है कोई खतरा?

 

वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को पूर्ण बहुमत मिला था। बीजेपी के 303 सांसद हैं। एनडीए के सांसदों को संख्या 331 है जबकि विपक्ष के I.N.D.I.A. गठबंधन के पास 150 से भी कम सांसद हैं। अगर BRS, YSR कांग्रेस और BJD के सांसदों को मिला भी दिया जाए तो भी यह संख्या एनडीए से कम है। ऐसे में अविश्वास प्रस्ताव का गिरना तय है।

 

 

 

  • fb-share
  • twitter-share
  • whatsapp-share
labhgarh

Disclaimer : All the information on this website is published in good faith and for general information purpose only. www.newsagencyindia.com does not make any warranties about the completeness, reliability and accuracy of this information. Any action you take upon the information you find on this website www.newsagencyindia.com , is strictly at your own risk
#

RELATED NEWS